फादर जॉन फरेरा के लिए योग उनके जीवन की दूसरी प्रार्थना
1 min readयोग आज विश्व मे अपनी खास पहचान बना चुका है योग से जुड़ कर लोग ने अपने जीवन को नयी दिशा दी भारत की इस प्राचीन पद्ति के प्रति दीवानगी एक अनुभवी प्रीस्ट में देखने लायक हैं , जहां हम कई ऐसे उद्धरण देखते हैं कि जहाँ योग को कुछ लोग धर्म विशेष से जोड़ कर देख योग से जुड़ने में असहज महसूस कर ते हैं मगर आगरा में सेट मेरी चर्च में पादरी के रूप में नियुक्त फादर जान फरेरा केलिये योग उनके जीवन की दूसरी प्रार्थना हैं , जिसको वह जीते हैं। ,योग हम को सांसो पर नियंत्रण करना सिखाता ,हम अपनी सांसो पर ध्यान लगते हैं परi जब हम फादर फरेरा को देखते हैं तो लगता हैं कि उन की हर सास में योग हैं, वह जीवन के हर पल को योगके साथ जीते हैं और लोगो को योगके साथ जीवन जीने का संदेश देते हैं ।योग के साथ संयमित जीवनचर्या ने फ़ादर जान फरेरा को रोगों से दूर रखा हैं और वह आज ऊर्जा से भरपूर जीवन जीते हैं ,जीवन के 70 वसंत देख चुके फादर फरेरा की ऊर्जा एक युवा से कही अधिक है । फादर फरेरा के जीवन की बात करे तो उनके प्रीस्ट बनने की यात्रा एक चर्च के सरमन उपदेश देने में आये पादरी के सवाल से जब उन्होंने उनसे चर्चा करते हुऐ पूछा कि 12 के बाद क्या करोगे ,उन से चर्चा के बाद फादर फरेरा ने प्रीस्ट बनने का निश्चय किया, उनके इस फ़ैसले में उनकी माँ नतालिया उनके साथ थी पर पांच भाईयो में छोटे फदर फरेरा के दूसरे नम्बर के भाई नही चाहते थे कि वह प्रीस्ट बने पर उन्होंने सब के मनाया और फिर वह 1972 में फदर कोलमवन के साथ आगरा आये और फिर आगरा को फादर जान फरेरा ने अपनी कर्मभूमी बनाया 11 अप्रैल 1981 में उनका ऑर्डिनेशन हुआ , उनके प्रोहित बनने की प्रकिया के दौरान ही उनमे योग की ललक जल उठी थी ,बार बार बीमार होने से परेशान फदर फरेरा ने रोग का निवार्ण योग को चुना ओर 1986 में बिहार स्कूल ऑफ योग से टीचर ट्रेनिग की उस के बाद योग अभ्यास करने और बाद में योग अभ्यास करवाने का सिलसिला अभी तक जारी हैं
फ़ादर जान फरेरा आगरा के प्रतिष्ठित मिशनरी स्कूल सेंट पीटर्स कॉलेज के सफल प्रधानाचार्य रहे हैं इसके साथ उन्होंने सेंट फेलिक्स स्कूल की जिम्मेदारी भी आगरा में संभाली। सेंट पीटर्स कॉलेज के प्रधानाचार्य रहने के कार्यकाल के दौरान फादर जॉन फ़रेरा ने कॉलेज में योग के लिए नए आयामों को कड़ा जिसमें उन्होंने कॉलेज में एक बड़ी सुंदर योगा गैलरी का निर्माण कराया जिसमें 61 योगिक स्टैचू बनाए गए हैं जो अलग-अलग युगों क्रियाओं को एक सामान्य लोगों को बताने और सिखाने में सहायक है इसके साथ उन्होंने सेंट पीटर्स कॉलेज में ही 8000 स्क्वायर फिट का योगा हॉल का भी निर्माण करवाया जिसमें छात्रों के साथ शिक्षक और बाहरी लोग भी योगाभ्यास के लिए आते हैं। योग के प्रति फादर का समर्पण उन्हें नए-नए कार्य करने के लिए हमेशा प्रेरित करता रहा फादर ने योग के ऊपर 5 से 6 किताबें भी लिखी है जिसमें योग के लाभ और योग क्रियाओं को करने के तरीकों को बताया गया है फादर ने अलग-अलग जगह से योग के लिए प्रशिक्षण प्राप्त किया और वह एक सफल योग गुरु बनकर समाज में लोकप्रिय हुए फादर फरेरा सेंट पीटर्स कॉलेज के सफल और लोकप्रिय प्रधानाचार्य होने के साथ आगरा के सफल योग गुरु भी है जो लोगों को प्राकृतिक उपचार और योग के माध्यम से रोगों से मुक्त कराने का कार्य कर रहे हैं, साथ ही उन्होंने योग से लोगों को जोड़ने और और योगा को अधिकतर लोगों तक पहुंचाने के उद्देश्य से टीचर ट्रेनिंग भी दी है जिसमें वह युवक-युवतियों को योग टीचर बना चुके हैं ,अभी तक तीस से पैतीस युवक युवती योग टीचर बन योग क्लास चला रहे हैं ।
फ़ादर की योग यात्रा में आयम पर विराम यही नही लगा उन्होंने आगरा के दयालबाग क्षेत्र में फ़ादर फरेरा योग व नैसर्गिक उपचार सेंटर भी खोल रखा है, जिसमें लोग प्राकृतिक और योग के माध्यम से अपने बीमारियों का उपचार कराने के लिए आते हैं।
फ़ादर फरेरा का कहना है कि योगा उनकी जिंदगी बन गया हैं जिसे वह जीते हैं उन्होंने देश के प्रतिष्ठित प्रतिष्ठित योगा प्रशिक्षण केंद्रों से शिक्षा प्राप्त की है जिसमें सद्गुरु का ईशा योगा सेंटर भी शामिल है उनका कहना था कि अलग-अलग सेंटर से प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद उनको अनुभव हुआ कि उनको हर जगह से कुछ ना कुछ अलग अलग सीखने को मिला योग को लेकर उनका मानना है कि अगर हम लगातार योग का अभ्यास करते हैं तो मन शरीर मैं बेहतर संतुलन बिठाकर अपने ऊपर नियंत्रण प्राप्त कर सकते हैं और पूरा जीवन निरोगी रहकर जी सकते हैं उनका मानना है कि वह योग की वजह से ही अपने जीवन को जी रहे हैं और उसके सुखद अनुभव को महसूस कर रहे हैं फादर फरेरा आगरा और आगरा के साथ अन्य शहरों में भी योग प्रशिक्षण इसके साथ वह अमेरिका जैसे देशों में भी युवा का प्रशिक्षण देने के लिए जा चुके हैं फादर फरेरा की जीवन में योग यात्रा काफी महत्वपूर्ण रही उन्होंने जब भी अवसर मिला योग के लिए कुछ ना कुछ बेहतरीन कार्य करने का निर्णय लिया हालाकी इस यात्रा में कभी उनको विरोध भी सहना पड़ा समाज के लोग कभी उनसे कहते थे कि तुम योग से ही क्यों जुड़े हो और भी बहुत चीजें हैं जिन से जुड़कर आप काम कर सकते हैं मगर सब की बातों को दरकिनार करते हुए उनकी योग यात्रा लगातार एक योगी की भांति जारी है और वह सेंट मैरी चर्च में पुरोहित के लिए शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं प्रशिक्षकों को भी योग का अभ्यास कराते हैं और जो भी मसीह समाज के लोग उनके पास अपनी समस्याओं को लेकर आते हैं, उनको भी वह अन्य समाज के लोगों की तरह योग से जुड़ने का स्वस्थ संदेश देते हैं ।फादर फरेरा समाज के लिए एक बेहतर उदाहरण है जो लोगों को स्वास्थ्य के साथ समाज को जोड़ने का भी सुंदर संदेश देते हैं
योग प्रशिक्षण केन्द्र जहाँ से प्राप्त की योग शिक्षा
1बिहार स्कूल ऑफ योग
2 शिवानंद आश्रम ऋषिकेश
3 केवल्य धाम लोनावाला महाराष्ट्र
4 स्वामी विवेकानंद यूनिवर्सिटी बेंगलोर
5 ईशा योग सेंटर कोयंबटूर
6 जिंदल नेचुरोपैथी सेंटर
परिवार
परिवार निवास मुम्बई बसई
मॉ – नतालिया
पिता -स्वर्गीय थामस
भाई –पांच
सेवा
सेट फ़िलिक्स स्कूल आगरा प्रिंसिपल
सेट पॉल इंटर कॉलेज आगरा प्रिंसिपल
सेट पीटर्स कॉलेज आगरा प्रिंसिपल
कोसीकला , हाथरस फिरोजाबाद के स्कूल में प्रिंसिपल का कार्यभार संभाला।
कवर स्टोरी डॉ० शुभ्रा शर्मा, भारत विमर्श आगरा