रामलीला में राम जन्म का हुआ मंचन
1 min readचित्रकूट उप्र – जिला मुख्यालय से सटे तरौंहा में रामलीला के तीसरे भगवान श्री राम के जन्म लीला का मंचन किया गया। भगवान श्रीराम के जन्मोत्सव पर भय प्रकट कृपाला की स्तुति शुरू होते ही दर्शक भावविभोर हो गए। रावण के अत्याचार के बोझ से निजात दिलाने को पृथ्वी व देवताओं की प्रार्थना पर भगवान विष्णु राजा दशरथ के यहां अवतरित हुए।
मुख्यालय के तरौंहा में 42वें रामलीला महोत्सव के तीसरे दिन की शुरूआत राष्ट्रीय रामायण मेला के कार्यकारी अध्यक्ष राजेश करवरिया व पूर्व चेयरमैन नीलम करवरिया ने पूजा अर्चना कर किया। इसके बाद कलाकारों ने प्रभु श्रीराम जन्म का मंचन दिखाया। जिसमें रावण के अत्याचार से पृथ्वी व्याकुल हो चुकी थी। इस पर देवी देवताओं के साथ पृथ्वी ने भगवान विष्णु की स्तुति कर अत्याचार से निवारण की प्रार्थना की। प्रार्थना स्वीकार करते हुए भगवान विष्णु ने आकाशवाणी किया कि वह जल्द ही अयोध्या में राजा दशरथ के यहां अवतरित होंगें। इधर राजा दशरथ पुत्र की कामना के लिए पुत्रेष्टि यज्ञ कराया। यज्ञ से मिले फल को तीनो रानियों को बराबर भाग में बांट दिया। इसके बाद कौशिल्या, सुमित्रा व कैकेई के चार पुत्र जन्मे। जिसमें कौशल्या के पुत्र राम और सुमित्रा के पुत्र लक्ष्मण और शत्रुघ्न कैकेई के पुत्र भरत हुए। प्रभु विष्णु के प्रकट होने पर रामलीला स्थल पर पटाखे दागकर जयकारे लगाए गए। भए प्रकट कृपाला दीनदयाला की स्तुति गान हुआ। मंचन देख दर्शक गदगद रहे। कलाकारों की जीवंत प्रस्तुतियोंं को जमकर सराहा। रामलीला देखने के लिए लोगों का जमावड़ा लगा रहा। रामलीला के बाद भक्तों को राम जन्म की खुशी में राजेश करवरिया द्वारा मिठाई का वितरण किया गया।
सुभाष पटेल ब्यूरोचीफ भारत विमर्श चित्रकूट उ०प्र०